भारत का संविधान : भारत का संवैधानिक विकास

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प्रिय पाठकों,
नमस्कार ।
आप सभी का स्वागत है , मेरे ब्लॉगिंग पेज में । भारत का संविधान केवल यह सोचकर ना पढ़ें की यह प्रतियोगी परीक्षा के पाठ्यक्रम में शामिल है बल्कि इसे भारत के प्रत्येक नागरिकनागरिक को पढ़ना चाहिए जिससे उन्हें अपने अधिकारों और कर्तव्यों के बारे ज्ञान हो सके । 

भारत का संवैधानिक विकास:-

भारत के संवैधानिक विकास का मतलब है लोकतान्त्रिक मूल्यों स्वन्त्रता,समानता,न्याय  ,प्रशासन का विकास है । इसमें वे एक्ट आते है जो ब्रिटिश संसद ने या कंपनी के अधीन पारित किए गए । 

कंपनी के व्यापार के लिए दिए गए अधिकार व् उसे नियमित करने इन सब के आधार पर इन कानूनों को मुख्यतः तीन वर्गों में बाँट सकते है :-

  1. चार्टर एक्ट - इसके अंतर्गत वे एक्ट आते है जो ईस्ट इंडिया कंपनी को व्यापार करने हेतु अधिकार देता है ।जैसे चार्टर एक्ट 1600, 1726,1786,1793,1813,1833,1853।

  1. रेगुलेटिंग एक्ट - इसके अंतर्गत वे सभी एक्ट जो कंपनी को नियंत्रित एवं नियमित करने के लिए बनाया गया था ।जैसे 1773 रेगुलेटिंग एक्ट ,पिट्स इंडिया एक्ट 1784 , पिट्स इंडिया एक्ट 1786। 

  1. भारतीय परिषद् अधिनियम - इसके अंतर्गत वे एक्ट आते है जो भारतीय परिषद के शासन के दौरान ने पारित किए ।

1773 का रेगुलेटिंग एक्ट :- 

पृष्ठभूमि :- 1773 के आस पास तक कंपनी में भृष्टाचार एवं कुशासन के कारण ब्रिटिश सरकार को कंपनी की और से मिलने वाली कर में भरी कमी हुयी साथ ही साथ कंपनी का स्वरुप अब व्यापारिक से राजनीतिक हो गया था इसलिए  कंपनी को नियंत्रित व् नियमित करने के लिया लाया गया था ।

इस एक्ट के प्रमुख प्रावधान :- 
  • इस एक्ट के तहत बंगाल के गवर्नर को समस्त अंग्रेजी राज्य का गवर्नर जनरल बना दिया गया । बम्बई और मद्रास को इसके अधीन कर दिया गया ।
  • गवर्नर जनरल की सहायता के लिए 4 सदस्यीय परिषद् का गठन ।
  • इस एक्ट के तहत कलकत्ता में सुप्रीम कोर्ट की स्थापना की गयी जिसमे एक न्यायधीश और तीन अन्य न्यायधीश थे । प्रथम मुख्य न्यायधीश एलिजा इम्पे थे। 
महत्व : - 
  • केंद्रीय प्रशासन की स्थापना - बंगाल के गवर्नर जनरल के अधीन बम्बई और मद्रास प्रान्त को कर दिया गया जिसके कारण प्रान्तों के बीच तालमेल और समन्वय बिठाने में मदद मिली ।
  • भारत में न्यायपालिका की नींव इसी एक्ट के तहत राखी गयी ।
  • कार्यपालिका का स्थापना जिसके अंतर्गत गवर्नर जनरल और उसके परिषद् के सदस्य शामिल थे ।

यदि आपने इस टॉपिक को ठीक से समझा तो नीचे दिए प्रश्नों का उत्तर दीजिये :- 

[1] निम्न में से कौन सा पहला है जो कंपनी को नियंत्रित करने के लिए पारित किया गया था - 
A. 1600 का चार्टर एक्ट
B.  1784 पिट्स इंडिया एक्ट
C. 1773 का रेगुलेटिंग एक्ट
D. इनमें से कोई नहीं
[2] 1773 के रेगुलेटिंग एक्ट में किये गए प्रावधान इनमे से कौनसा नहीं है -
A. सर्वोच्च न्यायालय की स्थापना 
B. बंगाल के गवर्नर को गवर्नर जनरल कहा गया ।
C. कंपनी का व्यापार अधिकार बढ़ाया गया ।
D. इनमें से सभी ।
[3] 1773 के रेगुलेटिंग एक्ट के तहत गवर्नर जनरल के परिषद् में सदस्यों की संख्या कितनी थी - 
A. 10
B. 12
C. 8
D. 4
[4] कलकत्ता में स्थापित न्यायलय के प्रथम न्यायधीश थे - 
A. रोबर्ट जॉन
B. एलिजा इम्पे
C. हिक्स 
D. इनमें से कोई नहीं

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